पटना । राजद-कांग्रेस के नेता बुधवार को हाथों में हाथ डाल, कंधे से कंधा मिलाकर केंद्र की भाजपा सरकार पर हल्ला बोलेंगे। पटना के साथ ही सभी जिला में नोटबंदी के एक साल पूरे होने पर आठ नवंबर को होनेवाले आयोजन का नाम काला दिवस रखा गया है।
राजद-कांग्रेस के इस आयोजन को समाजवादी पार्टी, जदयू के बागी शरद गुट, एनसीपी के साथ ही तृणमूल कांग्र्रेस ने भी समर्थन दिया है। महागठबंधन टूटने के बाद भाजपा-जदयू विरोधी दलों का बिहार में यह पहला बड़ा संयुक्त प्रदर्शन होगा।
राजद-कांग्रेस ने आयोजन की तैयारियां पूरी कर ली हैं। बुधवार को दोनों दल के नेता अन्य सहयोगी दल के नेताओं के साथ सभी जिला मुख्यालयों पर केंद्र सरकार विरोधी नारे बुलंद करेंगे और जिला समाहरणालय पर प्रदर्शन करेंगे। राजद-कांग्रेस ने दावा किया है कि आयोजन भाजपा सरकार की नींद उड़ा देगा।
बिहार कांग्रेस के प्रभारी अध्यक्ष कौकब कादरी और राजद के प्रदेश अध्यक्ष रामचंद्र पूर्वे ने कहा कि आठ नवंबर को पटना में विशाल विरोध प्रदर्शन होगा। जिसमें कांग्रेस के तमाम विधायक, पार्टी के बड़े नेताओं के साथ ही राजद की ओर से लालू प्रसाद, तेजस्वी यादव एवं तेजप्रताप समेत अन्य नेता शिरकत करेंगे।
कौकब कादरी ने बताया कि नोटबंदी के खिलाफ संयुक्त मार्च एवं प्रदर्शन के बाद शाम को कांग्र्रेस अलग से कैंडल मार्च निकालेगी। कैंडल मार्च के जरिए नोटबंदी की वजह से मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि दी जाएगी। युवा कांग्रेस ने भी आठ नवंबर को पटना समेत सभी जिला मुख्यालयों पर अर्धनग्न प्रदर्शन करने का फैसला किया है।
इधर भाकपा माले के राज्य सचिव कुणाल ने बताया कि वामपंथी विचार के छह दल कांग्र्रेस-राजद से अलग नोटबंदी का अपने तरीके से विरोध करेंगे। वामदल जिला मुख्यालयों के अलावा ब्लॉक स्तर पर भी विरोध प्रदर्शन करेंगे।