‘प्रधानमंत्री जी ! पटना में बोलने से पहले सबकुछ याद कर लें, जो-जो आपने कहा था’
पटना : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को पटना यूनिवर्सिटी के शताब्दी समारोह में शामिल होने पटना आ रहे हैं. समारोह के बाद प्रधानमंत्री मोकामा भी जायेंगे. मोकामा में वो कई योजनाओं का शिलान्यास भी करेंगे. मोदी की इस पटना यात्रा के अलग-अलग रंग भी देखने को मिल रहे हैं. शताब्दी समारोह में उनके कार्यक्रम को लेकर माना जा रहा है कि इससे यूनिवर्सिटी के दिन बहुरेंगे. उधर प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में शामिल होने से रोकने पर भी कई छात्र समूहों में नाराजगी है. इसी बीच सोशल मीडिया पर पीएमके दौरे को लेकर कई तरह की प्रतिक्रियाएं भी चल रही हैं.
फेसबुक पर प्रशांत कुमार ने प्रधानमंत्री को लेकर एक ध्यानाकर्षण शॉर्ट नोट लिखा है. इस नोट के साथ प्रशांत ने पीएम का एक वीडियो भी शेयर किया है. वीडियो 2014 लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान पूर्णिया में हुई पीएम (तब पीएम कैंडिडेट) की हुंकार रैली का बताया जा रहा है. आगे आप वीडियो भी देखेंगे लेकिन इससे पहले पढ़ लें उन्होंने लिखा क्या है –
‘आदरणीय प्रधानमंत्री जी
नमस्कार,
पटना विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह के सुअवसर पर कल बिहार में आपका आगमन हो रहा है. इस बात से हम बिहारवासी काफी खुश हैं. आपकी सेवा- सुश्रुसा में किसी प्रकार की कोई कमी न हो इसका पूरा पूरा ध्यान रख सारी कमियों को दुरुस्त कर दिया गया है. मुख्य सचिव से लेकर डीएम, एसपी, आईजी, डीआईजी, डीजीपी सहित कई अधिकारी सुरक्षा व्यस्था सहित कई कार्यों का लगातार जायजा ले रहे एवं विशेष सतर्कता बरत रहे हैं ताकि किसी भी प्रकार की कोई चूक न हो.
महोदय, आपकी इस बिहार आगमन में कोई नई घोषणा न हो इसलिए ध्यानाकर्षण हेतु ये संक्षिप्त नोट लिख रहा हूं.चूंकि यह कार्यक्रम विश्वविद्यालय केंद्रित है अतः विश्वविद्यालय पंहुचने से पहले वाली स्टेज की चर्चा कर आपका ध्यान आकृष्ट कराना चाह रहा. वैसे भी यह चुनावी रैली नहीं है अतः इधर-उधर की बातें करना बेकार है.
2014 लोकसभा चुनाव प्रचार के दरम्यान पूर्णिया की हुंकार रैली में बिहार के स्कूलों की ध्वस्त शिक्षा-व्यस्था पर आपने सबका ध्यान दिलाया था और उन समस्याओं से मुक्ति के लिए केंद्र में बीजेपी की सरकार को लाने की अपील किया था. बिहार की जनता ने आपकी बातों का पूरा ध्यान रखा और आप पर भरोसा कर आपकी पार्टी को केंद्र में विजयी बनाया.
महोदय उस रैली में आपने बताया था कि 21वीं सदी का पहला दशक पूरा होने के बाद भी यहां के स्कूलों में सिर्फ दो प्रतिशत कम्प्यूटर है. इसके अलावा मध्याह्न भोजन सहित शिक्षा-व्यस्था की तमाम कमजोरियों को उजागर कर इस घटिया स्थिति के लिए आपने सीधे-सीधे केंद्र में सत्तासीन कांग्रेस को जिम्मेवार ठहराया था.
महोदय आज उस भाषण के बाद बिहार साढ़े तीन साल आगे बढ़ गया है. आज जेडीयू के सहयोग से आपकी सरकार वहां विराजमान है. केंद्र में तो 2014 से है ही. अब बिहार जानना चाहता है कि आपकी सरकार के आने के साढ़े तीन साल बाद यहां स्कूलों की संख्या कितनी हुई है ? स्कूलों में कितने शिक्षक हैं ? बिहार के स्कूलों में अब कितने प्रतिशत कम्प्यूटर है ? मध्याह्न भोजन की क्या स्थिति है ? आदि. इसी बहाने असम, हरियाणा, महाराष्ट्र, राजस्थान, उत्तर-प्रदेश आदि भाजपा शासित राज्यों के लोगों को भी बिहार की तरक्की का पता भी चल सकेगा. वे तब के बिहार और अब के बिहार के फर्क को महसूस कर सकेंगे और खुद की तुलना भी कर सकेंगे.
थोड़ी चर्चा पटना विश्विद्यालय की भी कर ले रहा. यह बिहार का एकमात्र ऐसा विश्वविद्यालय है जहां अभावों के बावजूद प्रोफ़ेसर नियमित क्लास लेते हैं. परीक्षा में बैठने हेतु अटेंडेंस का कोरम पूरा करना अनिवार्य होता है अतः क्लास में स्टूडेंट्स की उपस्थिति रहती है. यहां सेशन भी ज्यादा लेट नहीं होता. पर पहले और अब के पटना विश्वविद्यालय के प्रोफेसर और छात्र के स्तर पर गुणवत्ता में भारी गिरावट आई है. यही वजह है कि विश्वविद्यालय भारी स्तर पर अयोग्य विद्यार्थी पैदा कर रहा. यहां से पासआउट छात्र अब चपरासी और क्लर्क बन रहे या किसी मॉल में काम कर रहे या ओला के कैब चला रहे. जबकि पहले यहां से पढ़े लिखे विद्यार्थी उच्च स्तर के कार्यों को चुनाव करते थे. पटना कॉलेज में जाने का मतलब था IAS, IPS से कुछ भी कम नहीं. इस बर्बाद स्थिति का कारण यह है कि बिहार में स्कूल स्तर पर शिक्षा की ध्वस्त स्थिति. जिसका जिक्र आप पूर्णिया की रैली में कर चुके हैं.
महोदय मुझे पूरा उम्मीद है कि आप मेरी बातों पर गौर करेंगे और कल शिक्षा के सर्वोच्च मंच से अपने भाषण में अपनी सरकार के आने के बाद बिहार की स्कूली शिक्षा की प्रगति कहाँ तक हुई है , के बारे में विस्तार से बताएंगे. 21वीं शताब्दी का दूसरे दशक के खत्म होने में अब सिर्फ दो साल बचे हैं. सरकार आपकी है इसलिए अवेयर कराना आपका कर्तव्य भी है.
अब लिखने से इज़ाज़त दें.
दीवाली एवं छठ महापर्व की अग्रिम शुभकामनाओं के साथ.
आपका
बिहारवासी वोटर
प्रशांत कुमार’