मोदी सरकार ने दी लद्दाख में सड़क बनाने की मंजूरी तो बौखलाया चीन
चीन ने भारत पर लद्दाख में पेंगोंग झील इलाके में सड़क निर्माण परियोजना की शुरू करने को लेकर निशाना साधा है। भारत में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता हुआ चुनयिंग गुरुवार को कहा कि भारत ने सीमारेखा पर सड़क बनाने की परियोजना को अनुमति देकर अपने चेहरे पर खुद थप्पड़ मारा है, इससे साबित होता है कि भारत कहता कुछ है और करता कुछ और है। बता दें कुछ समय पहले भारत ने चीनी सड़क निर्माण को यह कहते हुए रुकवा दिया था कि ये हमारी सुरक्षा के लिए खतरा है, जिसके बाद डोकलाम में चीन को सड़क निर्माण रोकना पड़ा था।
चीनी प्रवक्ता ने कहा कि भारत की बातों में विरोधाभास है। दोनों देशों की सीमाओं को रेखांकित नहीं किया गया है। दोनों देश सीमा क्षेत्रों में शांति बनाए रखने के लिए सहमत हुए हैं। इन हालात में भारत का लद्दाख क्षेत्र में सड़क निर्माण करना शांति और स्थिरता के लिए अनुकूल नहीं है।
विदेश मंत्रालय ने लद्दाख में पंगोंग झील में नई सड़क परियोजना को मंजूरी दे दी। कुछ मीडिया रिपोर्टस के अनुसार गृह मंत्रालय ने मर्सिमिक ला से हॉट स्प्रिंग तक एक स्टैंडअलोन रोड प्रोजेक्ट के निर्माण को मंजूरी दी थी। गृह मंत्रालय से मंजूरी मिलने के बाद बीआरओ ने इस परियोजना को मंजूरी दे दी थी।
बता दें यह वही जगह हैं, जहां पिछले सप्ताह भारत-चीन के सैनिकों की भिड़ंत हुई थी। स्वतंत्रता दिवस के मौके पर भारत और चीनी सैनिकों के बीच पेंगॉन्ग झील पर भिड़ंत हुई थी। यह जगह 12 हजार फीट की ऊंचाई पर है, यहां सांस लेना भी मुश्किल है। सर्दियों में यहां तापमान माइनस 45 डिग्री से भी नीचे चला जाता है। यह इलाका लद्दाख में पंगोंग झील के उत्तर- पश्चिमी सिरे से करीब 20 किलोमीटर दूर है। भारत की चीन के साथ लद्दाख में 700 किलोमीटर की सीमा शेयर करता है। इस सीमा रेखा को लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल के नाम से जाना जाता है। यह पूरा इलाका दुर्गम पहाड़ियों से घिरा हुआ है।