कैबिनेट के फैसले: अल्पसंख्यक छात्रावासों के लिए सृजित हुए प्रबंधन के 37 पद
पटना। मंत्रिपरिषद की बुधवार को हुई बैठक में राज्य के विभिन्न जिलों में बने अल्पसंख्यक छात्रावासों के प्रबंधन के लिए प्रबंधन के 37 पदों के सृजन को मंजूरी प्रदान की गई। साथ ही 14 अस्थाई अवर निबंधन कार्यालयों को स्थाई करने और उनके लिए 14 अवर निबंधक के पद सृजित करने के प्रस्ताव को भी स्वीकृति दी गई।
जिन अस्थाई अवर निबंधन कार्यालयों को स्थाई बनाया गया है उनमें पूर्वी चंपारण के पकड़ीदयाल, गया के नीमचक बथानी, मुंगेर के तारापुर, बेगूसराय के बलिया, भोजपुर के पीरो, कैमूर के मोहनिया, मुजफ्फरपुर के मोतीपुर, पूर्वी चंपारण के रक्सौल, सहरसा के सिमरी बख्तियारपुर, नवादा के रजौली, लखीसराय के सूर्यगढ़ा, सिवान के रघुनाथपुर, गोपलगंज के सिधवालिया एवं पटना के फुलवारीशरीफ में स्थित है। इनके लिए 14 रात्रि प्रहरी और 14 आदेशपाल के पद भी सृजित किए गए हैं।
लघु जल संसाधन विभाग में संविदा के आधार पर कार्यरत 10 कनीय अभियंताओं और भवन निर्माण विभाग में कार्यरत 9 कनीय अभियंताओं को अगले एक वर्ष तक के लिए पुनर्नियोजित करने के प्रस्ताव को भी स्वीकृति मिली है। गया-फतेहपुर-गोपी पथ पर मिट्टी कार्य एवं आरसीसी पुल निर्माण के लिए 47.64 करोड़ और छपरा में तेजपुरा से गौरा बाजार पथ में मिट्टी कार्य एवं इसके चौड़ीकरण के लिए 24.23 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं।
औरंगाबाद-बरबड्डा पथ की 6 लेनिंग के लिए 3.5 एकड़ भूमि एनएचएआइ को निशुल्क हस्तांतरित की गई है। वहीं, बिहार प्रशासनिक सुधार मिशन सोसाइटी को चालू वित्तीय वर्ष के लिए 58.52 करोड़ के सहायक अनुदान के प्रस्ताव को भी मंजूरी मिली है। बिहार लोक सेवा आयोग में सृजित पांच सहायक प्रोग्रामर के पद पर बाहरी स्रोत से संविदा पर नियुक्ति की जगह नियमित नियुक्ति का फैसला भी लिया गया है।